स्टालिन ने दिवाली की शुभकामनाओं को लेकर ऐसा क्या कहा कि मच गया बवाल, BJP ने लगाया भेदभाव का आरोप

तमिलनाडु के उप मुख्यमंत्री उदयनिधि स्टालिन ने दिवाली पर ऐसी शुभकामनाएं दीं, जिस पर विवाद मच गया है. बीजेपी ने उन पर हिंदुओं के साथ भेदभाव करने का आरोप लगाया है.
एमके स्टालिन के बेटे उदयनिधि ने कहा, लोग मुझे दिवाली की शुभकामनाएं देने में झिझक रहे थे. एक कार्यक्रम के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि जब मैं मंच पर पहुंचा तो कई लोगों ने मुझे गुलदस्ते, किताबें दीं और कुछ को समझ नहीं आ रहा था कि मुझे क्या बताएं. कुछ लोग मुझे दिवाली की शुभकामनाएं देने में झिझक रहे थे. उन्होंने सोचा कि अगर हम शुभकामनाएं देंगे तो क्या होगा अगर वह नाराज हो गए? मैं उन लोगों को दिवाली की शुभकामनाएं दे रहा हूं जिनकी आस्था है.
बीजेपी नेता तमिलिसाई सौदाराजन ने क्या कहा?
47 वर्षीय स्टालिन के इस बयान से बवाल मच गया है. बीजेपी नेता और पूर्व राज्यपाल तमिलिसाई सौदाराजन ने मुख्यमंत्री एमके स्टालिन और उप मुख्यमंत्री उदयनिधि स्टालिन को दिवाली की शुभकामनाएं दीं. उन्होंने कहा कि वे मूलतः हिंदू हैं चाहे वे इससे सहमत हों या नहीं. हम केवल उन्हीं लोगों को शुभकामनाएं नहीं देंगे जो इसमें आस्था रखते हैं. मैं उदयनिधि की टिप्पणी की कड़ी निंदा करती हूं.
#WATCH | Chennai | BJP leader Tamilisai Soundararajan says, “I wish everyone a happy Diwali and we are not like the Tamil Nadu Chief Minister. We will be wishing each and every one. I condemn the Tamil Nadu Deputy Chief Minister for wishing Diwali only to the believers… Even… pic.twitter.com/fOypeSbqgB
— ANI (@ANI) October 19, 2025
उन्होंने कहा, “जब आप दूसरे धर्मों के लोगों का अभिवादन करते हैं तो आप यह नहीं कहते कि यह उन लोगों के लिए है जो आस्था रखते हैं लेकिन जब हिंदू धर्म की बात आती है तो आप कहते हैं कि यह उन लोगों के लिए है जो आस्था रखते हैं.
‘वे केवल हिंदू धर्म के खिलाफ कटुता फैलाने का विकल्प चुनते हैं’
तमिलनाडु बीजेपी प्रवक्ता एएनएस प्रसाद ने कहा कि डीएमके सरकार में त्योहारों के दौरान हिंदुओं का अभिवादन करने की बुनियादी विनम्रता का अभाव है. प्रसाद ने कहा, “यह सर्वविदित है कि डीएमके एक हिंदू-विरोधी पार्टी है. डीएमके शासन में हिंदू त्योहारों पर बधाई देने की बुनियादी विनम्रता भी नहीं है और इसके बजाय वे केवल हिंदू धर्म के खिलाफ ही लगातार कटुता फैलाने का विकल्प चुनते हैं.”
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